एंटी-माइक्रोबियल पेप्टाइड्स (AMPs)

पेप्टाइड अमीनो एसिड की छोटी श्रृंखलाएं हैं। अमीनो एसिड अणु होते हैं जो प्रोटीन बनाने के लिए जुड़ते हैंएंटी-माइक्रोबियल पेप्टाइड्स (Antimicrobial peptides: AMPs) छोटे आणविक पेप्टाइड्स हैं जो बैक्टीरिया, कवक, परजीवी और वायरस सहित सूक्ष्मजीवों की एक विस्तृत श्रृंखला के खिलाफ होस्ट की सहज प्रतिरक्षा में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।

  • AMP अणुओं का एक प्रचुर और विविध समूह है जो कई प्रकार के अकशेरूकीय, पौधे और प्राणी प्रजातियों में कई ऊतकों और कोशिका प्रकारों द्वारा निर्मित होते हैं। आज, लगभग 5,000 AMP ज्ञात हैं और इनकी सूची तैयार की गयी हैं।
  • फ़िलहाल AMP हमलावर रोगजनकों (invading pathogens) की तुलना में अधिक स्मार्ट साबित हो रहे हैं। रोगजनक हमारे स्वस्थ कोशिकाओं में अपना रास्ता बनाते हैं और इस प्रक्रिया में कोशिकाओं को नष्ट करने के लिए शरीर के रसायनों का उपयोग करते हैं।
  • AMP बैक्टीरिया या वायरस की कोशिका झिल्लियों से खुद को जोड़कर उन्हें रोकते हैं और इन्हें स्वस्थ कोशिकाओं में प्रवेश करने से रोकते हैं। ऐसा इसलिए होता है क्योंकि रोगजनकों की कोशिका भित्ति ऋणात्मक रूप से आवेशित होती है, जबकि AMP धनात्मक रूप से आवेशित होते हैं। इस तरह विपरीत आवेशों के बीच आकर्षण AMP को झिल्लियों से चिपकने में सक्षम बनाता है।
  • एंटीबायोटिक दवाओं के मुकाबले, AMP वायरस के खिलाफ भी प्रभावी होते हैं। हाल के साक्ष्य बताते हैं कि मानव, कीट और पौधों द्वारा उत्पन्न कई AMP कई तरह के वायरस के खिलाफ प्रभावी सिद्ध होते हैं।
  • प्राकृतिक स्रोतों से प्राप्ति के अलावा, पुनः संयोजक (recombinant) विधियों का उपयोग करके विभिन्न होस्ट में AMP का उत्पादन किया जाता है। हाल ही में, कुछ संशोधनों के साथ डिज़ाइन किए गए AMP के सिंथेटिक एनालॉग्स की स्थिरता, विषाक्तता और प्राकृतिक AMP से जुड़ी गतिविधि की सीमाओं को पार करने की भविष्यवाणी की गई है।
  • हाल के एक अध्ययन के अनुसार सिंथेटिक रोगाणुरोधी पेप्टाइड्स (SAMPs) को मल्टी-ड्रग रेसिस्टेन्स के कारण होने वाले संक्रमण से लड़ने के लिए नया हथियार माना गया है।

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