भारतीय मानक ब्यूरो के पुनर्निर्मित भवन “मानकालय” का उद्घाटन
भारतीय मानक ब्यूरो (Bureau of Indian Standards: BIS) की संचालन परिषद की नई दिल्ली स्थित मुख्यालय में 25 अगस्त को चौथी बैठक हुई जिसमे अध्यक्षीय भाषण केन्द्रीय उपभोक्ता मामले, खाद्य और सार्वजनिक वितरण मंत्री श्री पीयूष गोयल ने दिया।
श्री गोयल ने BIS के 75 वर्ष पूरे होने पर बधाई देते हुए कहा कि यह ब्यूरो देश के साथ विकसित हुआ है और राष्ट्रीय अर्थव्यवस्था में लगातार योगदान दे रहा है। उन्होंने इस बात पर प्रकाश डाला कि ‘ब्रांड इंडिया’ के विकास में BIS की महत्वपूर्ण भूमिका है।
इस अवसर पर श्री गोयल ने BIS मुख्यालय के पुनर्निर्मित भवन, “मानकालय” (Mankalaya) का उद्घाटन किया।
उन्होंने BIS की संशोधित वेबसाइट भी लॉन्च की जिसने उपयोगकर्ता के अनुकूल इंटरफेस के माध्यम से सूचना तक आसान पहुंच को सक्षम किया है और जिसे बीआईएस की सभी महत्वपूर्ण पहलों के साथ अद्यतन किया गया है। इस अवसर पर नेशनल बिल्डिंग कोड पर पैम्फलेट और नेशनल इलेक्ट्रिसिटी कोड पर हैंडबुक भी जारी की गई।
भारतीय मानक ब्यूरो (BIS)
भारतीय मानक ब्यूरो (BIS) 26 नवंबर 1986, 1 अप्रैल 1987 को संसद के एक अधिनियम के माध्यम से अस्तित्व में आया, जिसमें एक व्यापक दायरे और पूर्ववर्ती ISI के कर्मचारियों, संपत्तियों, देनदारियों और कार्यों को संभालने की अधिक शक्तियां थीं।
इस बदलाव के माध्यम से, सरकार ने गुणवत्ता संस्कृति और जागरूकता के लिए माहौल बनाने और राष्ट्रीय मानकों के निर्माण और कार्यान्वयन में उपभोक्ताओं की अधिक भागीदारी की परिकल्पना की।
ब्यूरो एक कॉरपोरेट निकाय है जिसमें केंद्र और राज्य सरकारों, संसद सदस्यों, उद्योग, वैज्ञानिक और अनुसंधान संस्थानों, उपभोक्ता संगठनों और पेशेवर निकायों, दोनों का प्रतिनिधित्व करने वाले 25 सदस्य शामिल हैं। इसके अध्यक्ष उपभोक्ता मामले, खाद्य और सार्वजनिक वितरण मंत्री हैं।