तमिलनाडु ने कावेरी दक्षिण वन्यजीव अभयारण्य को राज्य का 17वां वन्यजीव अभयारण्य अधिसूचित किया
तमिलनाडु सरकार ने 68,640 हेक्टेयर में फैले कावेरी दक्षिण वन्यजीव अभयारण्य (Cauvery South Wildlife Sanctuary) को राज्य के 17वें वन्यजीव अभयारण्य के रूप में अधिसूचित किया है।
अभयारण्य को वन्य जीवन (संरक्षण) अधिनियम, 1972 की धारा 26-ए के तहत अधिसूचित किया गया है।
कावेरी दक्षिण वन्यजीव अभयारण्य की घोषणा में कृष्णागिरी और धर्मपुरी जिलों के वन खंड के तहत होसुर वन प्रभाग के एंचेटी, उरीगाम और ज्वालागिरी रेंज में 686.406 वर्ग किमी आरक्षित वन शामिल हैं।
ग्रिज़ल्ड विशाल गिलहरी, चार सींग वाले मृग, और लेसर फिश ईगल जो विशेष रूप से कावेरी नदी और इसके नदी वन वन पारिस्थितिकी तंत्र पर निर्भर हैं, यहाँ पाए जाते हैं।
कावेरी दक्षिण वन्यजीव अभयारण्य की घोषणा से संरक्षित क्षेत्रों के जुड़े हुए (contiguous) नेटवर्क को एक समान कानूनी दर्जा और सुरक्षा प्रदान करेगा जो 50 किमी से अधिक तक फैला होगा।
घोषित लैंडस्केप कर्नाटक के मलाई महादेश्वर वन्यजीव अभयारण्य और बिलिगिरी रंगास्वामी मंदिर टाइगर रिजर्व तथा तमिलनाडु के सत्यमंगलम टाइगर रिजर्व और इरोड वन प्रभाग के माध्यम से नीलगिरी बायोस्फीयर रिजर्व को निरंतरता प्रदान करता है।
दो महत्वपूर्ण और बड़े एलीफैंट कॉरिडोर नंदीमंगलम-उलीबांडा गलियारा और कोवाइपल्लम-अनेबिद्दाहल्ला गलियारा इस क्षेत्र में आते हैं।