UN मानवाधिकार परिषद-यूनिवर्सल पीरियोडिक रिव्यू में भारत के मानवाधिकार की समीक्षा
10 नवंबर 2022 को संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद (UN Human Rights Council) के यूनिवर्सल पीरियोडिक रिव्यू (Universal Periodic Review: UPR) वर्किंग ग्रुप द्वारा चौथी बार भारत के मानवाधिकार रिकॉर्ड की समीक्षा की गई।
- भारत की पहली, दूसरी और तीसरी UPR समीक्षा क्रमशः अप्रैल 2008, मई 2012 और मई 2017 में हुई थी।
- भारत के सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने भारत का पक्ष रखा।
- चौथी UPR के दौरान, भारत से यौन हिंसा और धार्मिक भेदभाव पर कड़ा रुख अपनाने और संयुक्त राष्ट्र यातना कन्वेंशन (United Nations Convention Against Torture) की पुष्टि करने का आग्रह किया गया।
- भारत ने जोर देकर कहा कि वह मानवाधिकार रक्षकों द्वारा निभाई गई भूमिका की सराहना करता है और कहा कि यह केवल “रेयरेस्ट ऑफ़ दी रेयर” मामलों में मृत्युदंड की सजा देता है। तुषार मेहता ने परिषद को बताया, “भारत किसी भी प्रकार की यातना की निंदा करता है और मनमाने ढंग से हिरासत, यातना, बलात्कार या यौन हिंसा के खिलाफ सख्त रुख अपनाता है।”
यातना के खिलाफ संयुक्त राष्ट्र कन्वेंशन (UNCAT)
- यातना और अन्य क्रूर, अमानवीय या अपमानजनक उपचार या सजा के खिलाफ कन्वेंशन संयुक्त राष्ट्र की समीक्षा के तहत एक अंतरराष्ट्रीय मानवाधिकार संधि है।
- इसे आमतौर पर यातना के खिलाफ संयुक्त राष्ट्र कन्वेंशन (United Nations Convention Against Torture: UNCAT) कहा जाता है। कन्वेंशन का टेक्स्ट संयुक्त राष्ट्र महासभा द्वारा 10 दिसंबर, 1984 को अपनाया गया था और 20 देशों द्वारा रेटिफिकेशन के बाद, यह 26 जून, 1987 को लागू हुआ।
- भारत ने UNCAT पर हस्ताक्षर किए हैं, लेकिन इसकी अभिपुष्टि नहीं की है।
क्या है यूनिवर्सल पीरियोडिक रिव्यू (UPR)?
- यूनिवर्सल पीरियोडिक रिव्यू (UPR) एक अनूठी प्रक्रिया है जिसके तहत संयुक्त राष्ट्र के सभी 193 सदस्य देशों के मानवाधिकार रिकॉर्ड की आवधिक समीक्षा की जाती है।
- UPR मानवाधिकार परिषद के तत्वावधान में स्टेट-संचालित प्रक्रिया है, जो प्रत्येक देश को यह घोषित करने का अवसर प्रदान करती है कि उन्होंने अपने देशों में मानवाधिकार स्थितियों में सुधार करने और अपने मानवाधिकार दायित्वों को पूरा करने के लिए क्या कदम उठाए हैं।
- UPR में दुनिया भर में सर्वोत्तम मानवाधिकार प्रथाओं को साझा करना भी शामिल है।
- UPR की स्थापना तब हुई थी जब 15 मार्च 2006 को संयुक्त राष्ट्र महासभा द्वारा संकल्प 60/251 में मानवाधिकार परिषद गठित की गई थी।
- समीक्षाएं UPR वर्किंग ग्रुप द्वारा आयोजित की जाती हैं जिसमें परिषद के 47 सदस्य होते हैं; हालांकि संयुक्त राष्ट्र का कोई भी सदस्य देश समीक्षा किए जा रहे देशों के साथ चर्चा/संवाद में भाग ले सकता है।
- गैर सरकारी संगठन (NGO) भी UPR वर्किंग ग्रुप सत्रों में भाग ले सकते हैं और किसी देश की समीक्षा के दौरान मानवाधिकार परिषद के नियमित सत्र में बोल सकते हैं।