Performance Grading Index 2.0: कोई भी राज्य शीर्ष पांच ग्रेड में शामिल नहीं है

केंद्रीय  शिक्षा मंत्रालय ने राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों के लिए परफॉरमेंस ग्रेडिंग इंडेक्स (PGI) 2.0 तैयार किया है जो व्यापक विश्लेषण के लिए एक सूचकांक बनाकर राज्य/केंद्रशासित प्रदेश स्तर पर स्कूल शिक्षा प्रणाली के प्रदर्शन का आकलन करता है।

PGI: प्रमुख तथ्य

PGI में राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों को उनके प्रदर्शन के आधार पर 10 ग्रेड में रखा गया है, और इस बार कोई भी राज्य शीर्ष पांच ग्रेड में आने के लिए अपेक्षित स्कोर हासिल नहीं कर सका

पंजाब और चंडीगढ़ शीर्ष दो राज्य और केंद्र शासित प्रदेश हैं लेकिन ये छठे ग्रेड प्रचेस्टा 2 (स्कोर 641-700) में आते हैं।

छह राज्य और केंद्रशासित प्रदेश ग्रेड प्रचेस्टा – 3 (स्कोर 581- 640) में शामिल हुए। PGI  2.0 में सबसे खराब प्रदर्शन करने वाले तीन राज्य/केंद्रशासित प्रदेश अरुणाचल प्रदेश, मेघालय और मिजोरम हैं जिनका ग्रेड आकांक्षी-3 है।  

PGI  – राज्यों/केंद्रशासित प्रदेशों को पहली बार वर्ष 2017-18 के लिए जारी किया गया था और अब तक, वर्ष 2020-21 तक जारी किया गया है।
 

PGI 2.0 संरचना में 73 संकेतकों के लिए 1000 अंक निर्धारित हैं जिन्हें 2 श्रेणियों; आउटकम और गवर्नेंस मैनेजमेंट में बांटा गया है। इन श्रेणियों को आगे 6 डोमेन में विभाजित किया गया है।  ये डोमेन हैं; लर्निंग आउटकम, एक्सेस, इंफ्रास्ट्रक्चर और फैसिलिटीज, इक्विटी, गवर्नेंस प्रोसेस तथा टीचर्स एजुकेशन एंड ट्रेनिंग

वर्ष 2021-22 के लिए PGI   2.0 ने राज्यों/केंद्रशासित प्रदेशों को दस ग्रेडों में वर्गीकृत किया है। उच्चतम प्राप्य ग्रेड “दक्ष” है, जो कुल 1000 अंकों में से 940 से अधिक अंक प्राप्त करने वाले राज्य/केंद्रशासित प्रदेश के लिए है। सबसे निचला ग्रेड आकांक्षी-3 है जो 460 तक के स्कोर के लिए है।

error: Content is protected !!