मेजर रालेंगनाओ ‘बॉब’ खातिंग वीरता संग्रहालय का उद्घाटन
हाल ही में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने अरुणाचल प्रदेश के तवांग में मेजर रालेंगनाओ ‘बॉब’ खातिंग वीरता संग्रहालय (Major Ralengnao ‘Bob’ Khathing Museum of Valour) का उद्घाटन किया।
बॉब खातिंग ने तवांग को भारत में शांतिपूर्ण ढंग से एकीकृत करने के अभियान का नेतृत्व किया था। उन्होंने सशस्त्र सीमा बल, नागालैंड सशस्त्र पुलिस और नागा रेजिमेंट जैसे आवश्यक सैन्य और सुरक्षा ढांचे की स्थापना में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी।
खातिंग मणिपुर के तंगखुल नगा समुदाय में पैदा हुए थे।
बॉब खातिंग को 1951 में तवांग के सुदूर क्षेत्र में अपने अभियान के लिए जाना जाता है, जिसने शेष भारत के साथ इसके एकीकरण का मार्ग प्रशस्त किया।
मेजर खातिंग ने 1951 में तत्कालीन नॉर्थ ईस्ट फ्रंटियर एजेंसी (नेफा) और वर्तमान अरुणाचल प्रदेश के एक सहायक राजनीतिक अधिकारी के तौर पर तवांग को भारतीय संघ के अधीन लाने के लिए साहसिक अभियान चलाया था।
बाद में, उन्होंने 1972 से 1975 तक म्यांमार में भारतीय राजदूत के रूप में कार्य किया। उन्हें मिलिट्री क्रॉस (MC), ब्रिटिश साम्राज्य के सबसे उत्कृष्ट आर्डर के सदस्य (MBE) और बाद में 1957 में पद्म श्री से सम्मानित किया गया।
खातिंग 1967 में नागालैंड के मुख्य सचिव बने।