ब्रूमेशन, हाइबरनेशन और टॉरपोर
हाल ही में सोशल मीडिया में टेक्सास (अमेरिका) की एक तस्वीर साझा की गई। इसमें ठंडे मौसम में एलिगेटर यानी घड़ियाल जिंदा रहने के लिए गहरी निद्रा यानी ब्रूमेशन (brumation) में चले गए।
कृंतक (रोडेन्ट्स) और कुछ अन्य स्तनधारी सर्दियों में शीतनिद्रा यानी हाइबरनेशन (hibernate) में चले जाते हैं। इस दौरान वे अपनी गतिविधियों को बहुत कम कर देते हैं ताकि कम आहार और कम धुप की स्थिति में अपनी ऊर्जा बचायी जा सके।
सरीसृप और पक्षी भी कुछ ऐसा ही करते हैं लेकिन थोड़ा अलग।
सरीसृप जैसे ठंडे खून वाले जानवरों (coldblooded animals) के मामले में इस प्रक्रिया को ब्रुमेशन (brumation) कहा जाता है – यह स्तनपायी की हाइबरनेशन के अस्थायी रूप की तरह है। इस अवस्था में रहते हुए, सरीसृप सुस्त हो जाते हैं और वे लंबे समय तक बिना खाए-पिए रह सकते हैं।
एलिगेटर, बियर्ड ड्रैगन और कछुए कुछ घंटों से लेकर महीनों तक ब्रूमेशन में रह सकते हैं। इस अवस्था में, एलिगेटर अपनी आंतरिक गतिविधियों को धीमा करके ऊर्जा को संरक्षित करते हैं, जिससे उन्हें लगातार भोजन लेने की आवश्यकता के बिना कम तापमान पर लंबे समय तक जीवित रहने में मदद मिलती है।
सरीसृपों और स्तनधारियों की तरह, एवियन (पक्षी) ठंडी परिस्थितियों में ऊर्जा संरक्षित करने के लिए टॉरपोर (Torpor) नामक अवस्था में जा सकते हैं। टॉरपोर पावर नैप और हाइबरनेशन के बीच की स्थिति है।