Thylakoid membranes: वैज्ञानिकों ने फोटोसिंथेसिस का सबसे पुराना फॉसिल एविडेंस खोजा
बेल्जियम के लीज विश्वविद्यालय के शोधकर्ताओं ने लगभग 1.75 अरब साल पहले के साइनोबैक्टीरिया (cyanobacteria) जीवाश्म पाए हैं, जिनसे प्रतीत होता है कि उनके पास ऑक्सीजन बनाने के साधन थे। इनमें थायलाकोइड मेम्ब्रेन (thylakoid membranes) संरचनाएं प्राप्त हुई हैं जिनमें प्रकाश संश्लेषण क्रिया घटित होती है।
यह खोज प्रकाश संश्लेषण के सबसे पुराने जीवाश्म साक्ष्य (earliest fossil evidence of photosynthesis) को चिह्नित करती है।
ऑस्ट्रेलिया के तटों पर एन. माजेन्सिस (N. Majensis) नामक प्राचीन सूक्ष्म जीवाश्म में संरक्षित थायलाकोइड्स (thylakoids) की खोज, थायलाकोइड्स वाले और बिना थायलाकोइड्स वाले सायनोबैक्टीरिया के बीच अंतर के लिए लगभग 1.75 बिलियन वर्ष की न्यूनतम आयु का प्रत्यक्ष प्रमाण प्रदान करती है।
थायलाकोइड्स पौधों के क्लोरोप्लास्ट में स्थित छोटी थैली होती हैं। वे क्लोरोफिल को संग्रहित करते हैं। क्लोरोफिल पौधों में वह पदार्थ है जो सूर्य के प्रकाश पर प्रतिक्रिया करता है और प्रकाश संश्लेषण को ट्रिगर करता है। वे सायनोबैक्टीरिया नामक प्राचीन, प्रकाश-संवेदनशील बैक्टीरिया में पाए जाते हैं।
साइनोबैक्टीरिया अरबों साल पहले महासागरों में बढ़कर कई गुना हो गए थे, और माना जाता है कि वे वायुमंडल में पाए जाने वाले ऑक्सीजन के विशाल भंडार के लिए जिम्मेदार हैं और इस प्रकार, जैसा कि हम जानते हैं, वे जीवन के अग्रदूत हैं।हालाँकि अब यह माना जाता है कि सायनोबैक्टीरिया में थायलाकोइड झिल्ली (thylakoid membranes) ही थी जिसने उन्हें ऊर्जा बनाने और ऑक्सीजन छोड़ने के लिए सूर्य के प्रकाश का उपयोग करने में सक्षम बनाया।
बता दें कि पृथ्वी पर फर्स्ट लाइफ को जीवित रहने के लिए ऑक्सीजन की आवश्यकता नहीं थी। पृथ्वी के शुरुआती दिनों में, वायुमंडल नाइट्रोजन और ऑक्सीजन के बजाय ज्यादातर कार्बन डाइऑक्साइड, मीथेन और जल वाष्प से बना था, जो आज हावी है।
बेल्जियम के लीज विश्वविद्यालय के शोधकर्ताओं की स्टडी नेचर जर्नल में प्रकाशित हुई है।