हीरालाल सामरिया बने देश के पहले दलित मुख्य सूचना आयुक्त

हीरालाल सामरिया (Heeralal Samariya) भारत के पहले दलित मुख्य सूचना आयुक्त (CIC) बने। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने 6 नवंबर को उन्हें CIC पद की शपथ दिलाई।

63 वर्षीय सामरिया सेवानिवृत आईएएस अधिकारी हैं। उन्होंने श्रम और रोजगार मंत्रालय में सचिव के रूप में कार्य किया है।

उनका जन्म राजस्थान के भरतपुर जिले के एक सुदूर और छोटे से गाँव पहाड़ी में हुआ था।

सूचना का अधिकार अधिनियम, 2005 के अनुसार, CIC और आईसी की नियुक्ति राष्ट्रपति द्वारा प्रधानमंत्री की अध्यक्षता वाली एक समिति की सिफारिश पर की जाती है। इस समिति में प्रधानमंत्री के अलावा लोकसभा में विपक्ष के नेता (या सबसे बड़े विपक्षी दल के नेता) और प्रधान मंत्री द्वारा नामित एक केंद्रीय मंत्री शामिल होते हैं।

कार्यकाल: मुख्य सूचना आयुक्त, या सूचना आयुक्त पद की शपथ लेने की तारीख से तीन वर्ष की अवधि के लिए पद धारण करते हैं।

आरटीआई अधिनियम 2005 की धारा 12(6) में प्रावधान है कि मुख्य सूचना आयुक्त या सूचना आयुक्त संसद सदस्य या किसी राज्य या केंद्र शासित प्रदेश के विधानमंडल का सदस्य नहीं होगा, या लाभ का कोई अन्य पद धारण नहीं करेगा। साथ ही उसे किसी राजनीतिक दल से जुड़ा नहीं होना चाहिए या कोई व्यवसाय में नहीं हो या कोई अन्य पेशा में नहीं हो।

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