जापान-भारत सेमीकंडक्टर आपूर्ति श्रृंखला साझेदारी
केंद्रीय मंत्रिमंडल ने जापान-भारत सेमीकंडक्टर आपूर्ति श्रृंखला साझेदारी (Japan-India Semiconductor Supply Chain Partnership) पर भारत और जापान के बीच सहयोग ज्ञापन (Memorandum of Cooperation: MoC) को मंजूरी दी।
जुलाई, 2023 में भारत के इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय तथा जापान के अर्थव्यवस्था, व्यापार और उद्योग मंत्रालय के बीच सहयोग ज्ञापन (MoC) पर हस्ताक्षर किए गए थे।
MoC का उद्देश्य उद्योगों और डिजिटल प्रौद्योगिकियों की उन्नति के लिए सेमीकंडक्टर के महत्व की पहचान करते हुए सेमीकंडक्टर सप्लाई चैन को बढ़ावा देने की दिशा में भारत और जापान के बीच सहयोग को मजबूत बनाना है।
यह MoC दोनों पक्षों के हस्ताक्षर की तारीख से प्रभावी होगा और पांच साल की अवधि तक लागू रहेगा।
मजबूत सेमीकंडक्टर आपूर्ति श्रृंखला को आगे बढ़ाने और पूरक शक्तियों का लाभ उठाने के अवसरों पर गवर्नमेंट टू गवर्नमेंट और बिजनेस टू बिजनेस दोनों तरह के द्विपक्षीय सहयोग बढ़ाए जाएंगे।
MoC बेहतर सहयोग की परिकल्पना करता है, जिससे आईटी के क्षेत्र में रोजगार के अवसरों का सृजन होगा।
सेमीकंडक्टर उत्पादन–फाउंड्री बाजार
गौरतलब है कि अमेरिका के अलावा ताइवान, चीन, दक्षिण कोरिया और जापान जैसे एशियाई देश दुनिया के सबसे बड़े सेमीकंडक्टर उत्पादक हैं। ताइवान, चीन और दक्षिण कोरिया की फाउंड्री कंपनियों का वैश्विक बाजार में 87% हिस्सा है।
ताइवान फाउंड्री बाजार, या सेमीकंडक्टर विनिर्माण (foundry market, or the outsourcing of semiconductor manufacturing) की आउटसोर्सिंग पर हावी है।
ताइपे स्थित अनुसंधान फर्म ट्रेंडफोर्स के आंकड़ों के अनुसार, इसके अनुबंध निर्माताओं ने पिछले साल कुल वैश्विक फाउंड्री राजस्व (foundry revenue) का 60% से अधिक का योगदान दिया।