राष्ट्रीय मत्स्य किसान दिवस 2023

सतत और संपन्न मत्स्य पालन क्षेत्र सुनिश्चित करने की दिशा में मत्स्य किसानों, जलीय कृषि उद्योग के पेशेवरों और अन्य हितधारकों के अमूल्य योगदान को पहचानने और सराहना करने के लिए हर साल 10 जुलाई को राष्ट्रीय मत्स्य किसान दिवस (National Fish Farmer’s Day) मनाया जाता है।

राष्ट्रीय मत्स्य किसान दिवस 2023 पूरे देश के लिए मत्स्य किसानों के व्यापक योगदान और सतत जलीय कृषि के प्रति उनकी प्रतिबद्धता को पहचानने का एक अवसर है।

राष्ट्रीय मत्स्य किसान दिवस भारतीय मत्स्य पालन क्षेत्र में प्रोफेसर डॉ. हीरालाल चौधरी और उनके सहयोगी डॉ. के. एच अलीकुन्ही के योगदान का सम्मान और स्मरण करने के लिए मनाया जाता है, जिन्होंने 10 जुलाई 1957 को हाइपोफिज़ेशन तकनीक (Hypophysation technique) द्वारा भारतीय मेजर कार्प्स (Indian Major Carps) में इंडयूस्ड ब्रीडिंग एंड रीप्रोडकशन का मार्गदर्शन किया था, जिस तकनीक ने अंततः इनलैंड एक्वाकल्चर में क्रांति ला दी ।

राष्ट्रीय मत्स्य किसान दिवस मत्स्य प्रोटीन की बढ़ती मांग को पूरा करने, रोजगार के अवसर पैदा करने और देश की खाद्य सुरक्षा में योगदान देने में मत्स्य किसानों द्वारा निभाई गई महत्वपूर्ण भूमिका को स्वीकार करने का एक अहम मंच है।

देश में नीली क्रांति

भारत सरकार मत्स्य पालन क्षेत्र में समग्र रूप से परिवर्तन लाने और देश में नीली क्रांति (Blue Revolution) के माध्यम से आर्थिक उत्थान और समृद्धि लाने में हमेशा अग्रसर रही है ।

वर्ष 2015 से, भारत सरकार ने 38,572 करोड़ रुपये के संचयी निवेश की घोषणा की है। मत्स्य पालन के एकीकृत विकास और प्रबंधन के लिए 2016 में 3,000 करोड़ रुपये के निवेश के साथ नीली क्रांति योजना शुरू की गई थी और इस योजना ने मत्स्य पालन क्षेत्र को आगे बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है ।

मत्स्य उत्पादन को बढ़ाने के लिए, समुद्री और अंतर्देशीय मत्स्य पालन, दोनों क्षेत्रों में समग्र रूप से मत्स्य पालन और एक्वाकल्चर क्षेत्र के इनफ्रास्ट्रक्चर को बढ़ावा देने के लिए केंद्रीय बजट 2018 में वित्त मंत्री ने 7522.48 करोड़ रुपये के कॉर्पस फ़ंड के साथ फिशेरीस एंड एक्वाकल्चर इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट फंड (FIDF) की स्थापना के संबंध में घोषणा की।

FIDF के तहत परियोजनाएं इंटरेस्ट सबवेनशन के साथ अनुमानित या वास्तविक परियोजना लागत के 80% तक ऋण के लिए पात्र हैं।

वर्ष 2020 में, प्रधान मंत्री ने प्रधान मंत्री मत्स्य सम्पदा योजना (PMMSY) का अनावरण किया, जो भारत में मत्स्य पालन क्षेत्र के सतत और जिम्मेदार विकास के माध्यम से नीली क्रांति लाने की एक योजना है,। वित्त मंत्री ने केंद्रीय बजट 2023-24 में 6,000 करोड़ रुपये के निवेश के साथ PMMSY के तहत एक उप-योजना की घोषणा की।

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