प्रेस नोट 3 (Press Note 3)
बाजार नियामक सेबी ने 31 मई को उच्च जोखिम वाले विदेशी पोर्टफोलियो निवेशकों (FPIs) से अतिरिक्त डिस्क्लोजर मानदंडों को अनिवार्य करने के लिए एक परामर्श पत्र जारी किया।
सेबी ने कहा कि अधिक निवेशक सुरक्षा के लिए और भारतीय प्रतिभूति बाजार इकोसिस्टम में अधिक विश्वास और पारदर्शिता को बढ़ावा देने के लिए कुछ प्रकार के FPIs के लिए अतिरिक्त डिस्क्लोजर की आवश्यकता है।
न्यूनतम सार्वजनिक शेयरधारिता (एमपीएस) के संभावित छल से बचाव के लिए और प्रेस नोट 3 (Press Note 3) की आवश्यकताओं को दरकिनार करने के लिए FPI मार्ग के संभावित दुरुपयोग को रोकने के लिए सेबी ने इन FPIs से अतिरिक्त डिस्क्लोजर मानदंडों को अनिवार्य किया है।
गौरतलब है कि कोविड-19 महामारी के दौरान, सरकार ने 17 अप्रैल, 2020 को एक प्रेस नोट 3 (2020) के माध्यम से प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (एफडीआई) नीति में संशोधन किया।
कहा जाता है कि यह संशोधन महामारी की वजह से संकट के कारण निम्न वैल्यूएशन के कारण पड़ोसी देश (चीन) द्वारा भारत की कंपनियों में हिस्सेदारी खरीदने या अधिग्रहण की आशंका की वजह से किया गया था।
प्रेस नोट 3 के अनुसार ऐसे किसी देश की कोई कंपनी, जो भारत के साथ भूमि सीमा साझा करता है या जहां भारत में निवेश करने वाले लाभार्थी का स्वामी स्थित है या वह ऐसे किसी देश का नागरिक है, केवल सरकारी मंजूरी से ही भारत में निवेश कर सकता है ।